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भारत-रूस व्यापार सम्मेलन के दौरान प्रधान मंत्री का भाषण

अक्तूबर 05, 2018

रूस के महामहिम राष्ट्रपति व्लादिमिर पुतिन,
बिजनेस वर्ल्ड
के प्रतिनिधिगण,
यहां उपस्थित अन्य महानुभाव,
देवियों और सज्जनों,
नमस्कार।


आप लोगों के बीच आने का अवसर मिलना, वाकई एक सुखद अनुभव है । पिछले साल जून में भी भारत और रूस में कार्यरत कंपनियों के CEO’s से हमारी मुलाकात हुई थी। मैं मानता हूं कि निरंतर संवाद की इस प्रक्रिया से आपसी रिश्ते और मजबूत हो रहे हैं, और निखर रहे हैं। मैं राष्ट्रपति पुतिन का विशेष धन्यवाद करना चाहता हूं, क्योंकि उनके नेतृत्व में भारत और रूस, दो महान देशों के बीच रिश्ते नई ऊँचाई पर पहुंचे हैं। हम खुद भी एक दूसरे से मिलने का कोई मौका नहीं छोड़ते।

साथियों,

हमारे राजनयिक संबंधों को पिछले साल 70 वर्ष पूरे हुए हैं। 70 वर्षों की इस लंबी यात्रा ने दोनों देशों के बीच सदियों पुरानी मित्रता, आत्मीयता और आपसी समझ को निरंतर मजबूत किया है। इस रिश्ते का Special and Privileged Strategic Partnership के रूप में बदलाव दोनों देशों की समान आकांक्षाओं और नज़रिये का उदाहरण है। दुनिया में बदलाव आना सामान्य बात है। बहुत कुछ बदल गया है और बदल रहा है। पर भारत और रुस की दोस्ती कभी नहीं बदली।

हम खुशनसीब हैं कि हमारे साथ सद्भाव और मैत्री की गंगा और वोल्गा हमेशा थी, हैं और रहेंगी। हमारे संबंधों को लगभग हर क्षेत्र में विस्तार मिल रहा है। उसकी आधारशिला है दोनों देशों के बीच आपसी विश्वास और समझदारी। ये हम सभी के लिए खुशी की बात है कि इस रिश्ते को, दोनों ही देशों का उद्यम जगत और ज्यादा मजबूती दे रहा है। दोनों देशों के व्यापारी वर्ग के प्रयासों से अर्थव्यवस्था में और नागरिकों की सुख-सुविधा में बढ़ोतरी हो रही है। सच पूछिए तो, हम अपनी सामाजिक और आर्थिक प्रगति में रूस को सबसे महत्वपूर्ण साझीदार मानते हैं। पिछले दो वर्षों में दोनों देशों के बीच के व्यापार में बहुत वृद्धि हुई है। अगर मैं सिर्फ साल 2017-18 की ही बात करूं, तो भारत का रूस के साथ व्यापार 20 प्रतिशत बढ़ा है। इसी से उत्साहित होकर सरकार लगातार प्रयासरत है कि रूस का भारत में निवेश और भी बढ़े।

साथियों,

आप सब इस बात से भलीभांति परिचित हैं कि रूस की कंपनियों को भारत में निवेश करने में सुविधा हो, इसके लिए हमने "Russia Plus" नाम से एक व्यवस्था खड़ी की है। इस व्यवस्था का उद्देश्य हैं रूस के निवेशकों एवं कंपनियों को सहयोग प्रदान करना।

मुझे बताया गया है कि दोनों देशों के बीच आर्थिक सहयोग को और बढ़ाने के लिए Joint Working Group काम कर रहे हैं। 23 प्रोजेक्ट भी पहचाने गए हैं। ऐसे सहयोग से निश्चित ही दोनों देशों के बीच Business Activities और बढ़ेंगी।

साथियों,

आज विश्व में भारत एक चमकते हुए सितारे की तरह उभर रहा है। इसको और गति देने के लिए हमारी सरकार Reforms की प्रक्रिया को निरंतर आगे बढ़ा रही है। Reform, Perform और Transform के मंत्र पर चलते हुए हर सेक्टर में आवश्यक बदलाव किए जा रहे हैं, उन्हें मजबूत करने के लिए ठोस कदम उठाए जा रहे हैं। पिछले 4 सालों में किए गए Structural Reforms का ही नतीजा है कि भारत की अर्थव्यवस्था नई ऊचाइयों को प्राप्त कर रही है।

आज हम विश्व की सबसे तेज गति से विकास करने वाली बड़ी अर्थव्यवस्था हैं। हमारी अर्थव्यवस्था का आकार अब लगभग 2.6 Trillion डॉलर का हो गया है। वर्तमान में भारत की अर्थव्यवस्था छठे नंबर पर है और पहले पाँच में आने की तरफ तेजी से आगे बढ़ रही है।

- चाहे घरेलू नीति हो या फिर विदेश में भारत की छवि,

- चाहे आर्थिक प्रगति हो या टेक्नॉलॉजी का विस्तार,

- चाहे सुधार कार्यक्रम हों, ईज आफ डूइंग बिजनेस हो,

- चाहे Investor Friendly माहौल बनाना हो या फिर Business Friendly Policies,

सभी क्षेत्रों में भारत एक स्थिर अर्थव्यवस्था का मॉडल बन रहा है। हमारा Regulatory ढांचा भी अब ज्यादा सक्षम, ज्यादा पारदर्शी और स्थिर है। पिछले साल लागू किया गया GST एक बहुत बड़ा कदम है। इससे भारत में टैक्स व्यवस्था और पारदर्शी बनी है। मुझे आपको बताते हुए खुशी हो रही है कि हमारे इन प्रयासों के निरंतर परिणाम मिल रहे हैं।

- World Bank की Ease of Doing Business की रैंकिंग में तीन साल में भारत 42 स्थान ऊपर आया है।

- World Intellectual Property Organisation (WIPO) की Global Innovation Index की रैंकिंग में भारत 21 स्थान ऊपर उठा है।

- World Economic Forum के Global कोमपे-टेटिवनेस Index में भी 2 साल में हम 31 स्थान ऊपर गए हैं।

- भारत अंकटाड द्वारा List किए गए 10 FDI Destinations में से एक है।

साथियों,

ऐसे परिवर्तन तब आते हैं, जब बिल्कुल जमीनी स्तर पर जाकर फैसले लिए जाते हैं, दूरदर्शी सोच के साथ नीतियां बनाई जाती हैं और निर्णय लागू किए जाते हैं। पिछले वर्षों में FDI के क्षेत्र में भी हमने काफी Reforms किए हैं। आज हम FDI की दृष्टि से सबसे खुली अर्थव्यवस्था हैं। भारत में 90 प्रतिशत से ज्यादा मंजूरियां अब Automatic Route पर दी जा रहीं हैं। इसी का परिणाम है कि हमारी FDI पिछले 3 साल में लगभग दोगुना हुई है। इसके अलावा Make in India जैसे विशेष कार्यक्रमों के माध्यम से भारत को Manufacturing और Research के क्षेत्र में Global हब बनाने की दिशा में भी काम किया जा रहा है। भारत, कम लागत पर Manufacturing करने का अपना धरातल लगातार बढ़ा रहा है। उसी तरह से हमारी IT Industry भी एक बहुत बड़ी ताकत के तौर पर काम कर रही है। भारत Technology में नए अविष्कारों के क्षेत्रों, जैसे Artificial Intelligence, Internet of Things, 3D Printing, Robotics आदि के जरिए Industry 4.0 की तरफ आगे बढ़ चुका है।

साथियों,

भारत में Next Generation Infrastructure के लिए भी चौतरफा काम हो रहा है। Speed, Scale और Skill पर जोर देते हुए हम 21वीं सदी की आवश्यकताओं को समझते हुए आगे बढ़ रहे हैं। आपको तो पता ही है कि विश्व की आबादी का छठा हिस्सा भारत में रहता है। ऐसे में हमारी सरकार देश के 125 करोड़ लोगों की आशाओं-आकांक्षाओं के अनुरूप, उनकी Ease of Living को बढ़ाने के लिए प्रयास कर रही है।

हम एक न्यू इंडिया का निर्माण करने कि लिए प्रतिबद्ध हैं जिसमें लोगों को बेहतर जीवन स्तर मिल सके। सरकार यह भी मानती है कि इस काम को हमें जल्दी से जल्दी करना है। और निश्चित तौर पर इसमें आपका भी सहयोग चाहिए। हम आपको भारत में बन रही विशाल Business Opportunities का लाभ उठाने के लिए आमंत्रण देते हैं। इस अपार अवसर के कुछ उदाहरण भी मैं आपको देना चाहूंगा।

- हमारा सागरमाला कार्यक्रम जिसके जरिए हम समुद्री तटों को और देश के प्रादेशिक क्षेत्रों को जोड़ना चाहते हैं, आप सभी के लिए भी बहुत अच्छा अवसर है।

- हम अपने 50 शहरों में मेट्रो रेल की शुरुआत करना चाहते हैं। ये भी आपके लिए बहुत अच्छा मौका है।

- हमारा रेल एवं रोड का कार्यक्रम बहुत ही विशाल है। इसका हमें लगातार विस्तार करना है ये भी आपके लिए बहुत सी संभावनाओं से भरा हुआ है।

- देश में मौजूद पोर्ट और एयरपोर्ट के आधुनिकीकरण के साथ ही नए पोर्ट और एयरपोर्ट की स्थापना भी हमारे एजेंडे में है।

साथियों,

भारत और रूस के पारंपरिक एवं परस्पर लाभकारी संबंधों को देखते हुए मैं आज इस अवसर पर कुछ और नए सुझाव भी देना चाहता हूं।

- पिछले कुछ वर्षों में भारत के अलग-अलग राज्यों में Ease of Doing Business के क्षेत्र में काफी काम हुआ है। हमारे राज्यों में एक दूसरे से Healthy Competition का भाव आया है। मैं चाहूंगा की रूस के प्रोविंस और हमारे राज्यों के बीच संवाद और बढ़े।

- दूसरा, ये कि रूस हमारे लिए पारंपरिक ऊर्जा का एक स्रोत तो बन ही सकता है। साथ ही हम ये भी चाहेंगे कि वो हमारे New and Renewable Energy के अभियान में भी शामिल हो।

- तीसरा, ये कि हम दोनों देश Nuclear Energy के क्षेत्र में मित्र समान हैं। अब हम टेक्नोलॉजी खरीदने, बेचने वाले ही नहीं लेकिन साथ मिलकर उन सामानों का भारत में उत्पादन के लिए विशेष काम कर सकते हैं।

- उसी प्रकार हम रक्षा के क्षेत्र में अपनी पुरानी साझीदारी एवं समझदारी को आगे बढ़ाते हुए Make in India के तहत भारत में उत्पादन कर सकते हैं।
- हम इस बात का भी स्वागत करेंगे कि रूस भारत में एक Dedicated Defence Industrial Park खोले।
- उसी प्रकार रूस में हमारी आईटी एवं फार्मा कंपनियों के लिए काम करने का अच्छा अवसर है। ये क्षेत्र ऐसे हैं जहां रूस की कंपनियों के साथ Joint Venture बनाकर काम किया जा सकता है।

- रूस का कई क्षेत्रों में अनुभव हमारे Start-Ups के लिए बहुत उपयोगी हो सकता है और खासकर के Space के क्षेत्र में, Fertilizer के क्षेत्र में, Gems and Jewellery के क्षेत्र में और Food Processing के क्षेत्र में ये बहुत महत्व रखता है। इस दृष्टि से आप लोगों ने जो चार फोकस सेक्टर चिह्नित किए हैं वो बहुत महत्वपूर्ण हैं। इनमें एनर्जी, डिजिटल इकोनॉमी, स्टार्टअप और इंफ्रास्ट्रक्चर का समावेश होता है।

साथियों,

आपकी आपसी चर्चा वाले जो बिंदु यहां उठाए गए हैं उनको भी हमने ध्यानपूर्वक सुना है। मैं आशा रखता हूं कि दोनों देशों के बीच के व्यापारिक संबंध इन 4 क्षेत्रों के स्तंभ पर और भी मजबूती से खड़े होंगे। मुझे विश्वास है कि आज की आप लोगों की बातचीत से, आने वाले दिनों में दोनों देशों के व्यापारिक संबंध और भी तेजी से आगे बढ़ेंगे।

मैं भारत के Systemic Reform, Transparent Resource Allocation, रिलाइबिलिटी of Policy, और रिसरजंस of Huge Middle Class का लाभ उठाने के आह्वान के साथ अपनी बात समाप्त करता हूं। मैं राष्ट्रपति पुतिन का हृदय से आभार व्यक्त करता हूँ. मैं रूस से ए हुए डेलीगेशन का भी आदर पूर्वक सत्कार करता हूँ

बहुत बहुत धन्यवाद !!!


नई दिल्ली
अक्टूबर 05,2018


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